पुण्यश्लोक लोकमाता देवी अहिल्याबाई की 300वी जयंती वर्ष के अवसर पर 24 जनवरी को मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की अध्यक्षता में सरकार की कैबिनेट की बैठक महेश्वर में आयोजित की गई। डेस्टिनेशन कैबिनेट राज्य सरकार की ऐतिहासिक पहल है जो प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के पर्यटन को बढ़ावा देने की अनूठी पहल को धरातल पर साकार करती है।
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव एवं समस्त कैबिनेट का आत्मीय स्वागत किया गया। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव द्वारा लोकमाता देवी अहिल्याबाई की राजगद्दी एवं प्रतिमा पर पुष्पांजलि अर्पित कर शत-शत नमन व वदंन किया गया। मुख्यमंत्री जी द्वारा महेश्वर किले का अवलोकन कर किले के संबंध में जानकारी प्राप्त की साथ ही किले से ही घाट के दर्शन भी किया गया।
भारत के इतिहास में अशोक- धर्माचरण, छत्रपति शिवाजी- साहस व शौर्य, चंदगुप्त विक्रमादित्य- शासन प्रबंधन, न्याय और विद्वानों का सम्मान, अकबर- उदार धर्मनीति, मीराबाई- भक्ति भावना, रानी दुर्गावती-वीरता, हर्षवर्धन-दानशीलता के लिए विख्यात है। देवी अहिल्या बाई ही ऐसी शासक हुई जिनमें उपरोक्त शासकों के समस्त महान गुणों का भंडार था। वह राज्यश्री के रूप होल्कर परिवार में आई और राजर्षि के रूप संसार में प्रसिद्ध हुई। राज्यश्री से राजर्षि तक के सफर के कारण उनका नाम भारतीय इतिहास मे स्वर्णिम अक्षरों ने लिखा रहेगा।

